-चौपाई-
मोबाइल की विकट कहानी।
सुनहु सुजन सुजनी मम बानी।।
हाथ - हाथ मोबाइल सोहे।
एंड्रॉयड जन-जन को मोहे।।
बालक युवा प्रौढ़ जन बूढ़े।
उठत खाट मोबाइल ढूंढ़े।।
छात्रा-छात्र सकल नर नारी।
मोबाइल की छवि पे बारी।।
बैठत उठत मोबाइल के संग।
बदलौ युग बदले सब रंग ढँग।।
चलत फिरत बाइक बस कार।
बिना मोबाइल सब बेकार।।
बात बात बात में बाता।
बात करत कोई न अघाता।।
प्रेम रार सर्विस व्यापार।
मोबाइल सबकी सरकार।।
- दोहा -
दास मोबाइल के हुए,
दुनिया के नर - नार।
सुख-दुःख में उसके बिना,
चले न कोई कार।।1।।
-चौपाई-
शादी ब्याह जन्म श्मशान।
मोबाइल का पहले ध्यान।।
पर्व दिवाली होली - रंग।
मोबाइल की प्रबल तरंग।।
आज़ादी का दिन ,गणतंत्र।
मोबाइल का मारक मंत्र।।
चौर्य डकैती लूटें बैंक।
मोबाइल की ऊँची रैंक।।
राजनीति या भ्रष्टाचार।
मोबाइल से ही संचार।।
दान पुण्य अपहरण छिनार।
खुला सदा मोबाइल -द्वार।।
लगा कान में लीड सुरंग।
राह न देखें मस्त तरंग।।
सड़क चलत बातों काध्यान।
अंधी आँखें बहरे कान।।
-दोहे-
चित्र - कथाएँ वीडियो,
नाना रंग संगीत।
सुरुचि श्लीलता से परे,
युवा - वर्ग के मीत।। 2।।
अलग कैमरा की नहीं ,
रही - ज़रूरत आज।
फोटो खींचो वीडियो,
मोबाइल हर काज।। 3।।
व्हाट्सएप्प या फेशबुक ,
मोबाइल के मित्र।
चैटिंग वार्ता वीडियो ,
भेजो सुंदर चित्र।। 4।।
कथा कहानी काव्य का ,
मोबाइल भांडार।
लिख भेजो कॉपी करो ,
फॉरवर्ड के द्वार।। 5।।
बिक्री औऱ खरीद भी ,
भेजो धन हर ठौर ।
मनीआर्डर के दिन गए ,
मोबाइल सिरमौर।। 6।।
टी वी ट्रांजिस्टर घड़ी ,
सबकी डिबिया एक।
खुला सिनेमा हाल है,
जो चाहे सो देख ।। 7।।
- चौपाई -
जोड़ गुणाअरु भाग घटाओ।
भिन्न दशमलव गणित सिखाओ।
गणक सभी गणनाएँ करता।
दिन दिनांक मा' वर्ष निखरता।।
कम्प्यूटर गूगल की खोज।
शब्दकोष ई मेल समोद।।
प्ले स्टोर एप्प्स का सागर।
मोबाइल सागर की गागर।।
मोबाइल में बैंक तुम्हारा।
जहाँ खड़े हो वहीं सहारा।।
करो ट्वीट , कब आए ट्रेन।
जीपीएस में क्या कुछ है न!!
ललित कलाएँ अरु विज्ञान।
मोबाइल निधि हीरा खान।।
ज्योतिष गणित विश्व इतिहास।
विश्व नहीं, ब्रह्मांड निवास।।
- दोहा-
मोबाइल वरदान है,
मोबाइल अभिशाप।
अकथ ज्ञान भांडार ये,
'शुभम'शीत अरु ताप।। 9।।
💐शुभमस्तु !
✍🏼रचयिता ©
🍑 डॉ. भगवत स्वरूप "शुभम"
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें