सोमवार, 30 सितंबर 2019

शेरा वाली माता आओ [ बालगीत ]


★●★●★●★●★●★●

शेरा     वाली     माता  आओ।
अपनी उजली ज्योति जलाओ।।

हमें  शेर   से  डर   लगता  है।
थर-थर-थर हॄदय कँपता  है।।
हमें  शेर   से   मातु   बचाओ।
शेरा  वाली .....

ऊँचे    पर्वत    पर  रहती  हो।
कैसे ठंड   कड़ी  सहती  हो!!
नीचे   उतरो     गर्मी    पाओ।
शेरा वाली .....

नौ -   नौ   रूपों  में भी रहना।
अस्त्र-शस्त्र का बोझा सहना।
दर्शन  अपने   देवि   कराओ।
शेरा  वाली .....

घन-घन-घन  घंटा  बजता है।
माँ   दरबार  तेरा  सजता है।।
माता  आकर भोग लगाओ।
शेरा वाली .....

पाप  ताप  बढ़ता  धरती  पर।
माता तू  जल्दी  उसको   हर।।
मानव - कष्ट दूर  कर  जाओ।
शेरा वाली .....

💐 शुभमस्तु !
✍ रचयिता ©
🍑 डॉ. भगवत स्वरूप 'शुभम'

www.hinddhanush.blogspot.in

30सितंबर2019◆7.45 अपराह्न।

कोई टिप्पणी नहीं:

एक टिप्पणी भेजें

किनारे पर खड़ा दरख़्त

मेरे सामने नदी बह रही है, बहते -बहते कुछ कह रही है, कभी कलकल कभी हलचल कभी समतल प्रवाह , कभी सूखी हुई आह, नदी में चल रह...