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✍ शब्दकार ©
🥭 डॉ. भगवत स्वरूप 'शुभम'
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मौसम मधुर आम का आया।
खट्टा पानी मुँह भर लाया।।
अमराई में आम लगे हैं।
हरे - हरे कुछ पीत पके हैं।।
बाग महकते सब महकाया।
मौसम मधुरआम का आया।।
ठेले पर आमों की ढेरी।
लँगड़ा चौसा और दशेरी।।
पाँच किलो हमने तुलवाया।
मौसम मधुर आम का आया।
खट्टा -मीठा स्वाद आम का।
गर्मी में है बहुत काम का।।
लू को खट्टा पना भगाया।
मौसम मधुर आम का आया।
रोटी से अचार हम खाते।
कच्चे आम बहन को भाते।।
डाल दाल में स्वाद बनाया।
मौसम मधुरआम का आया।।
गुठली आम बहुत गुणकारी।
रोगों को होती उपचारी।।
चूस - चूस कर हमने खाया।
मौसम मधुर आम का आया।
बहुत आम रस है गुणकारी।
आँखों को देता चमकारी।।
सभी फलों का राजा भाया।
मौसम मधुर आम का आया।
कैंसर से बचाव यह करता।
कोलस्ट्रोल को नियमित रखता।
'शुभम' विटामिन ए सी लाया।
मौसम मधुर आम का आया।।
💐 शुभमस्तु !
07.06.2020◆6.45अपराह्न।
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